श्रीनगर: दक्षिणी कश्मीर के पुलवामा में सुरक्षा बलों और आतंकियों के बीच मुठभेड़ में जैश-ए-मोहम्मद का टॉप कमांडर मारा गया. अब तक जैश के तीन आतंकी ढेर किए गए हैं. मुठभेड़ के दौरान दो सैनिकों समेत तीन लोग घायल हुए हैं. दूसरी तरफ, कुपवाड़ा जिले के कांडी जंगलों में भी आतंकियों और सुरक्षा बलों के बीच मुठभेड़ शुरू हो गई है. रिपोर्ट्स के अनुसार, 47 राष्ट्रीय राइफल्स, 28 राष्ट्रीय राइफल्स और एसओजी ने तलाशी अभियान शुरू किया था, इसी दौरान फायरिंग हुई. एक सैन्य अधिकारी ने कहा कि इलाके में संदिग्ध आतंकियों के छिपे होने की सूचना पर ऑपरेशन शुरू किया गया था.
पुलवामा एनकाउंटर पर पुलिस के एक अधिकारी ने कहा कि मुठभेड़ के शुरुआती दौर में तीन जवानों और दो भाइयों- मोहम्मद युनूस डार और रईस अहमद डार को चोट पहुंची. रईस की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि युनूस को नजदीकी अस्पताल ले जाया गया, जहां से उसे श्रीनगर के अस्पताल रेफर किया गया है.
अधिकारी ने कहा कि घायल सैनिकों को सेना के 92वें बेस अस्पताल ले जाया गया था जहां संदीप कुमार नाम के जवान ने दम तोड़ दिया. घायल जवानों की जवान सिपाही अरुणेश और सिपाही रविंदर के रूप में हुई है. अधिकारी के मुताबिक, मुठभेड़ के दौरान तीन आतंकी मारे गए और उनके शव बरामद कर लिए गए हैं. मुठभेड़-स्थल से कई हथियर और गोला बारूद बरामद किया गया है.
8 साल से कश्मीर में सक्रिय था खालिद
पुलवामा में मारे गए आतंकियों की पहचान नसीर पंडित (कर्मीबाद, पुलवामा), उमर मीर (बेथीपोरा, शोपियां) और खालिद भाई (पाकिस्तान) के रूप में हुई है. तीनों कुख्यात आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद से जुड़े थे. अधिकारी के अनुसार, खालिद पिछले आठ साल से कश्मीर में सक्रिय था. वह जैश का टॉप कमांडर था और 2017 में लेठपोरा के सीआरपीएफ कैंप पर फिदायीन हमले में वांछित था. इस हमले में अर्द्धसैनिक बल के पांच जवान मारे गए थे. अधिकारी के अनुसार, खालिद इस हमले का मास्टरमाइंड था.
अधिकारी ने कहा कि दलिपोरा गांव में सर्च ऑपरेशन के दौरान आतंकियों ने पुलिस और सेना की संयुक्त टीम पर फायरिंग की, जिसके बाद मुठभेड़ शुरू हो गई. खुफिया सूचना के आधार पर सर्च ऑपरेशन शुरू किया गया था. हालात देखते हुए अधिकारियों ने इलाके में कर्फ्यू लगा दिया है. पुलवामा में इंटरनेट सेवाएं भी सस्पेंड कर दी गई हैं.